देश के लिए कार्बन उत्सर्जन विचारणीय! पर्यावरण सुधार पर देश को होना होगा, सक्रिय।

(इंडियन न्यूज़ अड्डा) 

धर्मेंद्र श्रीवास्तव,

  “पर्यावरण सुधार पर हो विचार”

“तब जाकर देश और देश के लोग रहेंगे सुरक्षित”

  “आने वाले 28 वर्षों में शहरी लोगों की आबादी दोगुनी होकर ८८ करोड़ हो” जाएगी, 

रिपोर्ट-: के अनुसार 2050 तक मुंबई में समुद्र का तापमान बढ़ने के कारण जबरदस्त बाढ़ आ सकती है, प्रतिवर्ष लगभग ₹10 लाख से ज्यादा का नुकसान हो सकता है, 

पर्यावरण हो रहा परिवर्तित (इंटर गवर्नमेंटल पैनल)

की हाल ही में आई रिपोर्ट के अनुसार,

भारत में बहुत बड़ा पर्यावरण बदलाव होने जा रहा है, इसके कारण आने वाले 28 वर्षों में शहरी क्षेत्र की आबादी दोगुनी लगभग 28 करोड हो जाएगी,

कार्बन उत्सर्जन से नगरीय क्षेत्रों के बच्चों का भविष्य रहेगा खतरे में, 

किंतु?

किंतु, ग्रामीण क्षेत्रों के मुकाबले शहरी लोगों के जीवन पर बड़ा खतरा होगा,

आबादी घनत्व के कारण बदले तापमान और आर्द्रता को और बढ़ाएगा, रिपोर्ट के अनुसार वेट बल्ब टेंपरेचर आर्द्रता और तापमान का संयुक्त पैमाना 31 डिग्री तक पहुंच जाएगा,

जो मानव जीवन को जीने के लिए खतरनाक साबित होगा, अभी भी अनेक स्थानों पर कुछ खास कॉल खंड तक यह तापन पाया जाता है,

यदि यह तापमान परिवर्तित होकर 35 डिग्री तक पहुंच जाए तो मानव जीवन का 6 घंटे से ज्यादा बचना मुश्किल होता है,

उपरोक्त रिपोर्ट के अनुसार सन 2050 तक मुंबई में समुद्र का तापमान बढ़ने के कारण जबरदस्त बाढ़ आ सकती है,

और हर साल करीब 10 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का नुकसान हो सकता है,

अहमदाबाद शहर भट्टे की तरह गर्म हो सकता है,

और चेन्नई भुवनेश्वर पटना और लखनऊ सहित कई शहरों के लोग गर्मी और आर्द्रता के शिकार हो सकते हैं, यहां यह कहने की आवश्यकता नहीं है, कि भारत दुनिया में पर्यावरण परिवर्तन के शिकार देशों में सबसे मुहाने पर है,

इसमें सबसे ज्यादा प्रभाव भारत के शहरों में रहने वाला सामाजिक और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग होगा, क्योंकि यातायात, पानी, स्वच्छता, और ऊर्जा जैसे अंतर रचनात्मक व्यवस्थाओं की कमी की मार सबसे पहले उस पर ही पड़ेगी, अगर कार्बन उत्सर्जन की रफ्तार में कमी की योजना वर्तमान दर से जारी भी रहती है, तो वेट बल्ब टेंपरेचर देश के भागों में खतरनाक (31 डिग्री) तक पहुंच जाएगा,

इस लिहाज से पर्यावरण की क्षति रोकने के लिए और ज्यादा तेजी से काम करना पड़ेगा,

वेट बल्ब पैमाना का अर्थ है, स्थिर दबाव यह वह निम्नतम तापमान है, जिस पर पानी वाष्प बनकर हवा को ठंडा करता है।